By using this site, you agree to the Privacy Policy and Terms of Use.
Accept

K News 18

Latest & Breaking News Updates In Hindi

  • Home
  • देश
  • विदेश
  • राज्य
  • मध्यप्रदेश
    • मध्यप्रदेश जनसंपर्क
  • छत्तीसगढ़
    • छत्तीसगढ़ जनसंपर्क
  • राजनीती
  • धर्म
  • अन्य खबरें
    • मनोरंजन
    • खेल
    • तकनीकी
    • व्यापार
    • करियर
    • लाइफ स्टाइल
Search
  • Advertise
© 2022 Foxiz News Network. Ruby Design Company. All Rights Reserved.
Reading: तेंदू पत्ता संग्रहण में लक्ष्य से 57 प्रतिशत हुआ कम
Share
Sign In
Notification Show More
Font ResizerAa

K News 18

Latest & Breaking News Updates In Hindi

Font ResizerAa
  • Home
  • देश
  • विदेश
  • राज्य
  • मध्यप्रदेश
  • छत्तीसगढ़
  • राजनीती
  • धर्म
  • अन्य खबरें
Search
  • Home
  • देश
  • विदेश
  • राज्य
  • मध्यप्रदेश
    • मध्यप्रदेश जनसंपर्क
  • छत्तीसगढ़
    • छत्तीसगढ़ जनसंपर्क
  • राजनीती
  • धर्म
  • अन्य खबरें
    • मनोरंजन
    • खेल
    • तकनीकी
    • व्यापार
    • करियर
    • लाइफ स्टाइल
Have an existing account? Sign In
Follow US
  • Advertise
© 2022 Foxiz News Network. Ruby Design Company. All Rights Reserved.
K News 18 > Blog > राज्य > छत्तीसगढ़ > तेंदू पत्ता संग्रहण में लक्ष्य से 57 प्रतिशत हुआ कम
छत्तीसगढ़राज्य

तेंदू पत्ता संग्रहण में लक्ष्य से 57 प्रतिशत हुआ कम

News Desk
Last updated: 2025/06/03 at 10:25 AM
News Desk
Share
4 Min Read
तेंदू पत्ता संग्रहण में लक्ष्य से 57 प्रतिशत हुआ कम
SHARE

बस्तर

छत्तीसगढ़ के बस्तर संभाग में रहने वाले हजारों आदिवासियों के लिए तेंदू पत्ता सग्रहण हर साल आजीविका का आधार बनता है, लेकिन इस बार समय से पहले हुई बारिश से उनकी रोजी-रोटी पर गहरा असर हुआ है. मौसम की मार ने न सिर्फ पत्तों की गुणवत्ता को प्रभावित किया है, बल्कि उनकी आमदनी पर भी गहरा असर डाला है.

इस वर्ष बस्तर रेंज के चार जिलों जगदलपुर, सुकमा, दंतेवाड़ा और बीजापुर में 2 लाख 70 हजार 600 मानक बोरा तेंदूपत्ता संग्रहण का लक्ष्य निर्धारित किया गया था. इस लक्ष्य को पूरा करने के लिए 119 लॉट की व्यवस्था की गई, लेकिन 1 जून 2025 तक केवल 92 लॉट में ही संग्रहण कार्य शुरू हो पाया है. अब तक इन चार जिलों में कुल 1 लाख 17 हजार 859 मानक बोरा तेंदूपत्ता ही संग्रहित हो सका है, जो निर्धारित लक्ष्य का महज 43.55 प्रतिशत है. विभाग के अधिकारी भी मानते हैं कि समय से पहले आई प्री-मानसून बारिश और ओलावृष्टि ने पत्तों को नष्ट कर दिया, जिससे तेंदूपत्ता की मात्रा और गुणवत्ता दोनों प्रभावित हुई है.

पिछले वर्षों के मुकाबले 2025 की स्थिति काफी कमजोर नजर आती है. वर्ष 2023 में पूरे राज्य में 16.72 लाख मानक बोरा तेंदूपत्ता संग्रहित हुआ था, जिनमें से लगभग 11.37 लाख बोरे बेचे गए थे और इससे सरकार को 822 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त हुआ था. उस समय प्रति बोरा औसत बिक्री दर 7,199 रुपए थी. वर्ष 2024 के आंकड़े आंशिक रूप से सामने आए थे, जिनमें 36,229 संग्राहकों को कुल 12.44 करोड़ रुपए का पारिश्रमिक भुगतान किया गया था. इस बार 2025 में प्रति बोरा दर 5,500 रुपए रखी गई है और अब तक का संग्रहण लगभग 64.28 करोड़ रुपए का अनुमानित राजस्व देता है, जो पिछले वर्षों की तुलना में काफी कम है.

बस्तर के आदिवासी समुदाय के लिए तेंदूपत्ता सिर्फ एक वन उत्पाद नहीं, बल्कि उनकी गर्मियों की कमाई का सबसे बड़ा जरिया है. खेतों में काम बंद होने के बाद ग्रामीण परिवार तेंदूपत्ता तोड़ने में जुट जाते हैं और इससे मिलने वाला पारिश्रमिक कई बार पूरे साल के खर्चों में सहारा बनता है. एक परिवार सीजन में 3,000 रुपए से 8,000 रुपए तक की कमाई कर लेता है. तेंदूपत्ता के अलावा साल बीज, महुआ, इमली, हर्रा, बहेड़ा, लाख, गोंद और चिरौंजी जैसे वनोपज भी आदिवासियों की कमाई के साधन हैं, लेकिन स्थायी और व्यवस्थित भुगतान का जरिया तेंदूपत्ता ही है.

बाजार की बदलती मांग भी एक बड़ी चुनौती बन चुकी है. अंतरराष्ट्रीय स्तर पर बीड़ी की मांग में गिरावट के कारण तेंदूपत्ता की लॉट बिक्री प्रभावित हुई है. वर्ष 2023 में 119 लॉट में से केवल 78 लॉट ही बिक सके थे, जिससे सरकार और संग्राहकों दोनों को नुकसान झेलना पड़ा. परिणामस्वरूप कई संग्राहकों को पारिश्रमिक मिलने में भी देरी हुई और समितियों को भारी घाटा उठाना पड़ा.

स्थानीय संग्राहकों का कहना है कि इस बार पत्ते समय से पहले झड़ गए, कुछ सूख नहीं पाए और कई स्थानों पर तो संग्रहण शुरू होने से पहले ही पत्ते खराब हो गए.

बीजापुर की रामबती कश्यप बताती हैं, बारिश ने सब बिगाड़ दिया. इस बार पत्ता कच्चा रहा और सूखने से पहले ही गल गया. सरकार पैसा देती है, लेकिन जितना पत्ता ही नहीं हुआ तो क्या करें.

बस्तर में तेंदूपत्ता संकट एक चेतावनी है कि बदलते मौसम, बाज़ार की अस्थिरता और योजनाओं की समयबद्ध क्रियान्वयन में लापरवाही आदिवासियों की आर्थिक रीढ़ को कमजोर कर रही है. जरूरत है कि सरकार तेंदूपत्ता संग्रहण की प्रक्रिया को और व्यवस्थित बनाए, मौसम के असर से बचाव के लिए वैकल्पिक उपाय खोजे और अन्य वनोपजों को भी प्राथमिकता देकर आय के स्रोतों का विस्तार करे.

You Might Also Like

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के विशेष प्रयास से कोतबा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के लिए 56 पदों की मिली स्वीकृति…

छत्तीसगढ़ में किसान हो रहे समृद्ध: सरकार के नीतिगत फैसलों से खेती-किसानी को मिला संबल, सवा लाख करोड़ की मदद…

माओवादियों की IED साजिश का शिकार हुआ किशोर, हालत नाजुक

जवानों के सोशल मीडिया अकाउंट बने खतरा, ऑपरेशन स्ट्रेटेजी लीक होने पर उठाया कदम

जेल में बंद सचिव का एक और घोटाला उजागर — अब इस पंचायत में 3.73 लाख की वित्तीय हेराफेरी, लेकिन अब तक बर्खास्त नहीं!

News Desk June 3, 2025 June 3, 2025
Share This Article
Facebook Twitter Copy Link Print
Previous Article MP News- मध्य प्रदेश सरकार के लिए जनकल्याण और जन सेवा सर्वोपरि: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव… MP News- मध्य प्रदेश सरकार के लिए जनकल्याण और जन सेवा सर्वोपरि: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव…
Next Article पंडित धीरेंद्र शास्त्री छत्तीसगढ़ में निकालेंगे पदयात्रा और जशपुर में चर्च के सामने करेंगे कथा पंडित धीरेंद्र शास्त्री छत्तीसगढ़ में निकालेंगे पदयात्रा और जशपुर में चर्च के सामने करेंगे कथा
- Advertisement -
Ad imageAd image
- Advertisement -
Ad imageAd image

Stay Connected

235.3k Followers Like
69.1k Followers Follow
11.6k Followers Pin
56.4k Followers Follow
136k Subscribers Subscribe
4.4k Followers Follow

ताजा ख़बरें

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के विशेष प्रयास से कोतबा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के लिए 56 पदों की मिली स्वीकृति…
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के विशेष प्रयास से कोतबा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के लिए 56 पदों की मिली स्वीकृति…
छत्तीसगढ़ छत्तीसगढ़ जनसंपर्क
छत्तीसगढ़ में किसान हो रहे समृद्ध: सरकार के नीतिगत फैसलों से खेती-किसानी को मिला संबल, सवा लाख करोड़ की मदद…
छत्तीसगढ़ में किसान हो रहे समृद्ध: सरकार के नीतिगत फैसलों से खेती-किसानी को मिला संबल, सवा लाख करोड़ की मदद…
छत्तीसगढ़ छत्तीसगढ़ जनसंपर्क
माओवादियों की IED साजिश का शिकार हुआ किशोर, हालत नाजुक
माओवादियों की IED साजिश का शिकार हुआ किशोर, हालत नाजुक
छत्तीसगढ़ राज्य
जवानों के सोशल मीडिया अकाउंट बने खतरा, ऑपरेशन स्ट्रेटेजी लीक होने पर उठाया कदम
जवानों के सोशल मीडिया अकाउंट बने खतरा, ऑपरेशन स्ट्रेटेजी लीक होने पर उठाया कदम
छत्तीसगढ़ राज्य
//

यह एक हिंदी वेब न्यूज़ पोर्टल है जिसमें ब्रेकिंग न्यूज़ के अलावा राजनीति, प्रशासन, ट्रेंडिंग न्यूज, बॉलीवुड, खेल जगत, लाइफस्टाइल, बिजनेस, सेहत, ब्यूटी, रोजगार तथा टेक्नोलॉजी से संबंधित खबरें पोस्ट की जाती है।

संपादक - Pragya Telang
मोबाइल - 7999882386
ईमेल - [email protected]
कार्यालय - G2 Amrit Niwas , Gandhi Nagar , Gudhiyari , Raipur , Chhattisgarh
July 2025
M T W T F S S
 123456
78910111213
14151617181920
21222324252627
28293031  
« Jun    
Follow US
© 2022 Foxiz News Network. Ruby Design Company. All Rights Reserved.
  • Home
  • About Us
  • Contact Us
  • MP Info RSS Feed
Welcome Back!

Sign in to your account

Lost your password?